शिमला, 09 मई। भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के बीच हिमाचल प्रदेश सरकार ने सुरक्षा प्रबंधों को मजबूत करने के लिए कदम उठाए हैं। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने शुक्रवार को प्रदेश के सभी जिलों के उपायुक्तों (डीसी), पुलिस अधीक्षकों (एसपी) और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों के साथ एक आपात बैठक आयोजित की। इसमें प्रदेश की सुरक्षा तैयारियों की समीक्षा की गई। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को सीमावर्ती क्षेत्रों में सतर्कता बढ़ाने, सभी जरूरी प्रबंध सुनिश्चित करने और केंद्र सरकार के निर्देशों के अनुसार ब्लैकआउट की तैयारी रखने के आदेश दिए।
सीमावर्ती क्षेत्रों में सतर्कता और सुरक्षा की बढ़ाई गई कड़ी निगरानी
सीएम सुक्खू ने बैठक के दौरान अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे नूरपुर, इंदौरा और अन्य संवेदनशील क्षेत्रों में सतर्कता बनाए रखें, खासकर उस स्थिति में जब सीमा से जुड़े क्षेत्र तनावग्रस्त हों। उन्होंने कहा कि पठानकोट में हुए ड्रोन हमले के बाद हिमाचल के सीमावर्ती क्षेत्रों में अलर्ट जारी कर दिया गया है और किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए प्रदेश सरकार ने सभी आवश्यक कदम उठाने शुरू कर दिए हैं।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री कार्यालय, मुख्य सचिव कार्यालय, गृह विभाग, आपदा प्रबंधन प्राधिकरण और सामान्य प्रशासन विभाग सहित सभी आपात सेवाएं 24 घंटे कार्यरत रहेंगी। इसके अलावा पुलिस, स्वास्थ्य सेवाओं और अन्य आपात सेवाओं से जुड़े कर्मचारियों की छुट्टियां रद्द कर दी गई हैं। आगामी तीन दिनों के दौरान मुख्यमंत्री कार्यालय और अन्य आवश्यक सरकारी कार्यालयों में सीमित स्टाफ के साथ काम होगा।
सतर्कता के साथ नागरिकों को घबराने की आवश्यकता नहीं: सीएम सुक्खू
सीएम सुक्खू ने प्रदेशवासियों से अपील की कि वे घबराएं नहीं, क्योंकि फिलहाल हिमाचल में कोई सीधा खतरा नहीं है, लेकिन सुरक्षा के दृष्टिकोण से सतर्कता बनाए रखना जरूरी है। उन्होंने सभी जिलों के डीसी और एसपी को आदेश दिया कि वे अपने क्षेत्रों में स्थिति पर कड़ी निगरानी रखें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि या सूचना को गंभीरता से लें और तुरंत कार्रवाई करें।
सीएम ने धार्मिक स्थलों, हवाई अड्डों, पुलों, बांधों और अन्य महत्वपूर्ण संस्थानों की सुरक्षा को कड़ा करने का निर्देश भी दिया। इसके अलावा उन्होंने केंद्र सरकार के दिशा-निर्देशों के अनुसार मॉकड्रिल आयोजित करने की बात भी कही ताकि आपातकालीन स्थिति में त्वरित प्रतिक्रिया सुनिश्चित की जा सके।
सीमावर्ती जिलों में विशेष सतर्कता की आवश्यकता
सीएम सुक्खू ने विशेष रूप से पठानकोट, चंडीगढ़ और जम्मू-कश्मीर से सटे जिलों में सतर्कता बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि यदि कहीं सायरन बजते हैं, तो तुरंत आवश्यक कार्रवाई की जाए। साथ ही केंद्र और राज्य सरकार के दिशा-निर्देशों का पालन करने की आवश्यकता पर जोर दिया।
गांवों में रात के समय बिजली बंद रखने औऱ सोलर लाइटें ढकने के आदेश
पाकिस्तान के साथ चल रहे तनाव के कारण सोलन जिले के प्रशासन ने सुरक्षा को लेकर महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने सभी पंचायतों को रात के समय लाइटें बंद रखने का आदेश जारी किया है। इस आदेश के तहत पंचायत सचिवों, प्रधानों, बीडीसी सदस्यों और जिला परिषद सदस्यों को अपने-अपने क्षेत्रों में इस आदेश का सख्ती से पालन करवाने के निर्देश दिए गए हैं।
इस आदेश में यह कहा गया है कि सभी लोग रात के निर्धारित समय पर अपनी लाइटें बंद रखें और किसी भी हालत में खुले स्थानों पर तेज रोशनी न करें। खासतौर पर उन क्षेत्रों में जहां सोलर लाइटें लगी हैं, उन्हें पूरी तरह से ढकने का आदेश दिया गया है ताकि किसी भी प्रकार की रोशनी बाहर न दिखाई दे। प्रशासन ने यह कदम सुरक्षा के दृष्टिकोण से उठाया है ताकि संवेदनशील स्थिति में किसी भी प्रकार की अनहोनी से बचा जा सके।